Rupak Yadav – Delhi Poetry Slam

मुझे पंख दो

By Rupak Yadav

मुझे जीना है, मुझे उड़ना है,
मुझे बुराइयों से लड़ना है,
मुझे पंख दो, मुझे आसमां छूना है।
मेरी शिक्षा ही है मेरी ताकत,
क्यों वंचित रहूं मैं इससे,
ये है मेरा अधिकार,
मुझे पंख दो, मुझे अच्छा इंसान बनना है।
मुझे आगे बढ़ना है,
नए कीर्तिमान स्थापित करने है,
देश को आगे ले जाऊँगी,
देश की बेटी कहलाऊँगी।
मुझे पंख दो, मुझे जीना है, मुझे उड़ना है।
मुझे पंख दो।। 

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